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ECS क्या होता है ? ECS Service कितने प्रकार की होती है

इस Blog में ECS  क्या होता है ? ईसीएस से जुडा इतिहास क्या है? ECS Service कितने Types की होती है? ECS Scheme के लिए कैसे Apply कर सकते हैं ? तथा ECS सुविधा के क्या-क्या फायदे हैं ? इत्यादि के बारे में बताने वाले हैं। दोस्तों अगर आप ECS से संबंधित सभी जानकारियां प्राप्त करना चाहते हैं तो यह लेख अंत तक‌ जरूर पढ़ें।

इ.सी.स क्या होता है:  WHAT IS ECS  ?

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ECS यह एक बैंक अकाउंट से किसी दूसरे बैंक अकाउंट में डिजिटल तरीके से Auto Credit/Auto Debit Funds Transfer की सुविधा (Service) है। यह उपभोक्ता (Customer) को उसके बैंक अकाउंट से Electronic Debit/Credit Transaction की सुविधा भी प्रदान करता है।

यह Scheme मुख्य रूप से बार-बार (Repetitive) और समय-समय पर (Periodic) होने वाले भुगतान (Transactions) उपयोग करी जाती है।

इस Scheme के अन्तर्गत होने वाले भुगतान एक Single User Source (जैसे बैंक, कंपनी, उद्योग या सरकारी विभाग) से एक बड़ी संख्या के Destination (लक्ष्य) खाताधारकों (जैसे उपभोक्ता/निवेशक/कर्मचारी) होते हैं, जिन्हें एक निश्चित समय अंतराल के बाद भुगतान करना पड़ता है।

ECS Full Form or ESC Ka Full Form 

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ELECTRONIC CLEARING SERVICE

ESC full Form in Hindi

ECS FULL FORM IN HINDI
विद्युतीय समाशोधन सेवा

ईसीएस से जुड़ा इतिहास: HISTORY OF ECS 

ECS की सुविधा Department Of Posts (DoP) जिसे India Post के नाम से भी जाना जाता है, के द्वारा 9 अगस्त 2003 को प्रायोगिक तौर पर मुंबई सिटी में शुरू की गई थी।

बाद में यह Scheme आरबीआई द्वारा देशभर में प्रस्तुत किया गया था ताकि लोगों और बैंकों पर आने वाले Load को कम किया जा सके एवं Repetitive & Periodic भुगतान को सरल और तेज बनाया जा सके।

वर्तमान में यह सुविधा Reserve Bank Of India (RBI) के अन्तर्गत देशभर में 15 अलग-अलग Centers पर कार्यरत है जहां आरबीआई अपने ECS Clearing Houses Manage करता है। वहीं SBI के 21 व PNB तथा अन्य बैंकों के 29 Centers हैं जो RBI की तर्ज़ पर ECS की सुविधा Manage करते हैं।

ईसीएस के प्रकार: TYPES OF ECS 

वैसे देखा जाए तो ECS Service दो प्रकार की होती है

  1. ECS Credit : ECS Credit के माध्यम से कोई भी समय-समय पर आपके बैंक अकाउंट पैसे भेजती रहती है, जैसे आपके जमा का ब्याज, Dividends, Salary, Pension इत्यादि का भुगतान। इसके तहत एक Single Account में समय-समय पर पैसे जमा किए जाते हैं ताकि बाद में Multiple Accounts में पैसे Credit किए जा सके।
  1. ECS Debit : ECS के इस प्रकार में आप अपने Loans की EMI, Mutual funds, सभी प्रकार के बीमा के प्रीमियम, बिजली, पानी, मोबाइल तथा इंटरनेट के बिल का भुगतान करते हैं।

एक ईसीएस स्कीम के लिए आवेदन कैसे करें: HOW TO APPLY FOR A ECS SCHEME

कोई भी वेतनभोगी व्यक्ति या कर्मचारी जो कि किसी सरकारी या निजी विभाग में कार्य करता है एवं उसके पास एक Salary Account है वो अपने बैंक शाखा से संपर्क करके ECS के लिए Registration करवा सकता है।

यदि आप अपने बैंक Account से ECS की सुविधा प्राप्त करना चाहते हैं तो आपको सबसे पहले इस विषय में अपने बैंक को सूचित करना होगा। फिर आपका बैंक ECS सर्विस चालू करने के लिए ECS Mandate Form (आज्ञापत्र) देगा। आप इस के जरिए ही अपने बैंक को ECS Credit/Debit का Mandate दे सकते हैं।

इस फाॅर्म को भरते समय आपको अपने बैंक अकाउंट का Branch एवं अकाउंट से से संबंधित अन्य महत्वपूर्ण जानकारियां देनी पड़ती हैं, इसके अलावा इस फाॅर्म में आप भुगतना की अधिकतम राशि भी निर्धारित कर सकते हैं।

ECS Service शुरू होने के बाद जब भी आपके अकाउंट से कोई भी रकम जाएगी या अकाउंट में जमा होगी तो उसका Update SMS द्वारा आपको अपने मोबाइल नंबर पर प्राप्त होता रहेगा।

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ECS Mandate Form SBI

ईसीएस के फायदे: BENEFITS OF ECS 

Friends, ECS Scheme ने भुगतान संबंधी लोगों और बैंकों के अनेक Loads को कम किया है। ECS Scheme को अस्तित्व में लाने का एक श्रेय Internet तथा Computer को भी दिया जा सकता है, इसके अलावा ECS के कुछ अन्य Benefits निम्न हैं

  • इस सर्विस के कारण विभिन्न प्रकार के बिलों का भुगतान समय पर हो जाता है।
  • इस सुविधा से Customers को अपनी रोजमर्रा की जरूरतों का बिल जैसे बिजली बिल, मोबाइल बिल, पानी बिल, इंटरनेट का बिल इत्यादि भरने में मदद मिलती है।
  • चूंकि यह प्रक्रिया पूरी तरह Paperless होती है, अतः पर्यावरण के लिए भी फायदेमंद है।
  • इस Service को आसानी से शुरू व बंद किया जा सकता है।
  • सरकार द्वारा प्रदान की जाने वाली अनेक जनकल्याणकारी योजनाओं का पैसा अब सीधे जनता के खातों में जाता है।
  • ECS System से बैंकिंग से संबंधित कार्यों में काफी तेजी आई है।
  • इस प्रकार से धन के हस्तांतरण पर किसी भी प्रकार का कोई चार्ज नहीं देना पड़ता।

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आशा करते हैं Friends की आपको हमारे द्वारा ECS के बारे मे लिखा गया Blog पसंद आया होगा। यदि हमारे द्वारा दी गई जानकारी अच्छी लगी हो तो आप इसे अपने Friends व Social Media Sites पर Share ज़रूर करें

यदि आपके मन में ECS से संबंधित कोई सवाल उठ रहा है तो आप Comment करके पूछ सकते हैं तथा भविष्य में ऐसी ही रोचक जानकारियों के लिए हमारे Blog को follow कर सकते हैं, धन्यवाद।

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2 thoughts on “ECS क्या होता है ? ECS Service कितने प्रकार की होती है”

  1. ईसीएस सुविधा सबसे घटिया सुविधा है,
    लोगों को लूटने के लिए सुविधा आरबीआई द्वारा लाई गई है।

    ईसीएस वैलिडेटर चार्ज ₹118 प्लस जीएसटी है।

    ईसीएस रिटर्न चार्ज 600 प्लस 600 =1200दोनों साइड लोन प्रोवाइडर और बैंक लगता है।

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